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पटना DM के आदेश से जिले में 76 स्कूल बाढ़ के कारण बंद - श्रीनारद मीडिया

पटना DM के आदेश से जिले में 76 स्कूल बाढ़ के कारण बंद

पटना DM के आदेश से जिले में 76 स्कूल बाढ़ के कारण बंद

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श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

बिहार की राजधानी पटना के आसपास के कुछ इलाके बाढ़ प्रभावित हो गए हैं। इसके बाद अब जिलाधिकारी ने बाढ़ की स्थिति को देखते हुए अहम फैसला लिया है। जिलाधिकारी ने बाढ़ प्रभावित इलाकों के 76 स्कूल बंद करने का आदेश दिए हैं। पटना के जिन इलाकों में स्कूलों को बंद करने के आदेश दिए गए हैं उनमें – गोला,बाढ़, बख्तियारपुर, दानापुर,मनेर, फतुहा, मोकामा व पटना सदर प्रखण्ड के स्कूल शामिल हैं। पटना के आसपास के कुछ इलाकों में गंगा नदी का जलस्तर बढ़ा है। बच्चों और शिक्षकों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए डीएम डॉक्टर चंद्रशेखऱ ने यह आदेश दिया है।

31 अगस्त तक बंद रहेंगे स्कूल

जारी आदेश के मुताबिक जिले के अथमलगोला, बाढ़, बख्तियारपुर, दानापुर, फतुहा, मनेर, मोकामा और पटना सदर प्रखंड के दियारा इलाके में स्थित कुल 76 स्कूल तत्काल प्रभाव से 31 अगस्त तक बंद रहेंगे. जिन पंचायतों में स्कूल बंद किये गये हैं उनमें रामनगर दियारा, इब्राहिमपुर, चिरैया रूपस, हरदासपुर दियारा, काला दियारा, रूपस महाजी, अकिलपुर, गंगहरा, हेतनपुर, माधवपुर, कासिमचक, मानस, पानापुर, पटलापुर हवेसपुर, मोमिंदपुर, गंगहरा, पाटलापुर, शिवनार और नकटा टोला दियारा शामिल हैं.

बाढ़ के खतरे को देखते हुए आदेश जारी

पटना डीएम ने जारी आदेश में कहा है कि यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू होगा. उन्होंने सभी संबंधित अधिकारियों को इस आदेश का अनुपालन सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है. जिला प्रशासन का मानना ​​है कि छात्रों की सुरक्षा प्राथमिकता है और बाढ़ से उत्पन्न खतरे को देखते हुए स्कूलों को बंद करना जरूरी है.

जिला प्रशासन ने इस आदेश की कॉपी अनुमंडल पदाधिकारी, जिला सूचना एवं जनसम्पर्क पदाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी, थानाध्यक्ष, जिला शिक्षा पदाधिकारी और वरीय पुलिस अधीक्षक को भेज दी है.

बता दें कि बीते दिनों दानापुर के नासरीगंज घाट पर विद्यालय जाने के लिए नाव पकड़ने के क्रम में एक शिक्षक की नाव से फिसल कर गंगा में गिरने से दुखद मृत्यु हो गई थी. जिसके बाद से शिक्षकों में आक्रोश देखने को मिल रहा है.

दानापुर में एक शिक्षक की गंगा नदी में डूबने से मौत से गुस्साएं शिक्षकों ने यह फैसला लिया। कहा कि घाट पर नाव की व्यवस्था तो कर दी गयी है लेकिन लाइफ जैकेट मुहैया नहीं कराया गया है। गंगा का जलस्तर काफी बढा हुआ है। जिसके कारण तेज लहर और उफान देखा जा रहा है। ऐसे में नाव पर चढ़ना खतरे से खाली नहीं है। जब तक लाइफ जैकेट की व्यवस्था नहीं की जाएगी वो नाव से यात्रा नहीं करेंगे। अपनी जान जोखिम में नहीं डालेंगे। जान है तो जहान है। शिक्षकों के इस विरोध के बाद शिक्षा विभाग ने बाढ़ग्रस्त इलाकों के स्कूल को बंद करने का आदेश दे दिया।

शिक्षकों का कहना है कि बाढ़ग्रस्त इलाके के स्कूलों में बच्चों को पढ़ाने के लिए गंगा घाट पर 12 सरकारी नाव की व्यवस्था की गयी है लेकिन 25 लाइफ जैकेट ही उपलब्ध कराया गया है। शिक्षकों की संख्या सैकड़ों में है जबकि लाइफ जैकेट बहुत कम संख्या में हैं ऐसे में बिना लाइफ जैकेट के कोई नाव पर चढ़ना नहीं चाह रहे हैं। एक सुर में शिक्षकों ने कह दिया है कि बिना लाइफ जैकेट के वो नाव पर नहीं चढ़ेंगे और अपनी जान खतरे में नहीं डालेंगे।

शिक्षा विभाग ने सभी डीएम को नाव और लाइफ जैकेट का प्रबंध कराए जाने का निर्देश दिया था लेकिन ऐसा नहीं दिख रहा है। जिसे लेकर शिक्षकों में खासा आक्रोश देखने को मिल रहा है। वही शिक्षा विभाग ने गंगा बढ़े जलस्तर को देखते हुए दियारा इलाके के तमाम स्कूलों को शनिवार तक बंद रखने का आदेश दिया है।

बता दें कि पटना में 23 अगस्त को दो नावों की टक्कर के बाद BPSC शिक्षक 25 वर्षीय अविनाश कुमार की गंगा नदी में डूबने से मौत हो गयी। पानी के तेज बहाव में वो बह गये लेकिन अभी तक लाश का कोई अता-पता नहीं चल सका। अविनाश ने पहले बाइक को नाव पर चढ़ाया फिर खुद नाव पर चढ़ने लगे। इसी दौरान पीछे से आ रही दूसरी नाव ने टक्कर मार दी। जिसके कारण अविनाश गंगा नदी में गिर गये। उन्हें तैरना नहीं आता था जिसके कारण वो नदी के तेज बहाव में बह गये।  एसडीआरएफ और स्थानीय गोताखोर ने लगातार खोजबीन की लेकिन कोई अता-पता नहीं चल सका।

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