पीएम मोदी के अमेरिका दौरे से चीन और पाकिस्तान सबसे ज्यादा चिन्तित,क्यों?

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श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अमेरिकी दौरे पर हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के निमंत्रण पर पीएम मोदी 21 से 24 जून तक चार दिनों की यात्रा पर अमेरिका जा रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सम्मान में व्हाइट हाउस में 21 तोपों की सलामी दी जाएगी। संयुक्त राज्य अमेरिका (US) और भारत दोनों के बीच व्यापार तेजी से बढ़ रहा है। पीएम मोदी अमेरिकी यात्रा के दौरान 22 जून को कांग्रेस के संयुक्त सत्र को संबोधित भी करेंगे। बाइडेन 22 जून को राजकीय रात्रिभोज में मेादी की मेजबानी करेंगे। पीएम मोदी के इस अमेरिकी दौरे से चीन और पाकिस्तान सबसे ज्यादा परेशान हैं। दरअसल आर्टिफ़िशियल इंटेलिजेंस में अमेरिका का काम किसी से छिपा नहीं है।

इस मामले में भी तकनीकी समझौता होने के संकेत अमेरिका के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन ने दिए हैं। पीएम नरेंद्र मोदी की अमेरिका यात्रा कई मायनों में महत्वपूर्ण होने वाली है। जेट इंजन टेक्नोलॉजी ट्रांसफर, डिफेंस एवं इमर्जिंग टेक्नॉलॉजी के क्षेत्र में कई समझौते होने की संभावना है। इसकी जमीन दोनों ही देशों के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों ने पहले ही तैयार कर चुके हैं, अब केवल इस पर अमल करना बाकी है।

रिश्तों में आई मजबूती

दो दिन की यात्रा पर आए अमेरिका के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन आत्मविश्वास से लबरेज नजर आ रहे हैं। वह कह रहे हैं कि अमेरिकी प्रेसीडेंट बाइडेन ने भारत-अमेरिका के बीच रिश्तों में बाधा बनने वाले सभी बैरियर्स हटा दिए हैं। जीई 414 जेट इंजन की टेक्नोलॉजी भारत के लिए महत्वपूर्ण है। भारत, अमेरिका के साथ सेमी-कंडक्टर्स की आपूर्ति को लेकर भी सहयोगी रुख अख्तियार कर रहा है। डिलिवरेबल्स में भारत में एक सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग इकोसिस्टम स्थापित करने में सहयोग होगा। इसमें माइक्रोन गुजरात में बड़ी असेंबली, टेस्टिंग और पैकेजिंग मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटी में एक प्रमुख निवेश की घोषणा शामिल होगी, लेकिन इसके साथ ही, कम से कम दो अन्य अमेरिकी कंपनियां कार्यबल प्रशिक्षण के लिए एक बड़ी पहल का अनावरण करेंगी, जो हजारों भारतीय इंजीनियरों को डोमेन में कौशल से लैस करेगी।

अमेरिका भारत को एक महत्वपूर्ण “काउंटरपॉइंट” के रूप में देख रहा है। ऐसे में चुनिंदा भारतीय शहरों में 5जी और फिर 6जी के लिए ओपन रेडियो एक्सेस नेटवर्क (ओआरएएन) की तैनाती की घोषणा की उम्मीद है। जनवरी में ICET के लॉन्च के दौरान, भारत ने कहा था कि देश की लागत-प्रतिस्पर्धात्मकता और पैमाने को देखते हुए, दोनों पक्ष विश्वसनीय स्रोतों का इस्तेमाल करके 5G/6G और ORAN को कवर करते हुए एक निजी संवाद शुरू करने पर सहमत हुए हैं। व्हाइट हाउस ने तब कहा था कि दोनों पक्ष 5G और 6G में अनुसंधान और विकास पर सहयोग को आगे बढ़ाएंगे।

विदेश सचिव ने बताया कि इसके बाद पीएम मोदी वाशिंगटन डीसी की यात्रा करेंगे, जहां गुरुवार को व्हाइट हाउस में उनका औपचारिक स्वागत किया जाएगा और उच्च स्तरीय वार्ता के लिए राष्ट्रपति बाइडेन से मुलाकात करेंगे. उन्होंने यह भी बताया कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन और प्रथम महिला डॉ. जिल बाइडेन गुरुवार शाम प्रधानमंत्री के सम्मान में राजकीय रात्रिभोज की मेजबानी करेंगे.

कांग्रेस की संयुक्त बैठक को करेंगे संबोधित

विदेश सचिव ने कहा, पीएम मोदी 22 जून को अमेरिकी कांग्रेस की संयुक्त बैठक को संबोधित करेंगे. समस्त भारतीयों को इस बात पर गौरवान्वित महसूस करना चाहिए कि पीएम मोदी यूएस कांग्रेस को संबोधित करेंगे. दरअसल, यूएस कांग्रेस को एक से ज्यादा बार संबोधित करने का अवसर विश्व के कुछ ही नेताओं को मिला है.

विदेश सचिव ने यह भी बताया कि शुक्रवार को प्रधानमंत्री की अमेरिकी उप राष्ट्रपति कमला हैरिस और विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन द्वारा संयुक्त रूप से दोपहर के भोजन की मेजबानी की जाएगी.

कुछ चुनिंदा CEO से मुलाकात का कार्यक्रम

विदेश सचिव ने कहा, पीएम मोदी कुछ चुनिंदा CEO, पेशेवरों और अन्य हितधारकों के साथ भी मुलाकात करने वाले हैं. वह प्रवासी भारतीयों के सदस्यों से भी मिलेंगे. उन्होंने कहा, यह यात्रा दोनों देशों के सहयोग में एक मील का पत्थर साबित होगी. ऐसे में यह एक बहुत ही महत्वपूर्ण यात्रा है.

खुलेंगी व्यापार और निवेश को लेकर नई राहें

इस यात्रा से व्यापार और निवेश को लेकर नई राहें खुलेंगी. वहीं पीएम मोदी के इस दौरे के बाद दोनों देशों के संबंधों को नया आयाम मिलेगा. उन्होंने यह भी कहा कि इससे रक्षा क्षेत्र में नया और मजबूत तंत्र विकसित होगा.

द्विपक्षीय रक्षा सहयोग होगा मजबूत

विदेश सचिव ने यह भी कहा कि पीएम मोदी की यह ऐसी यात्रा है जिसमें संयुक्त राज्य अमेरिका में वास्तविक और व्यापक गहरी रुचि है. उन्होंने कहा, जिन प्रमुख घटकों को प्रमुखता से प्रदर्शित किया जाएगा उनमें से एक द्विपक्षीय रक्षा सहयोग होगा. उन्होंने कहा कि रक्षा औद्योगिक सहयोग रोडमैप पीएम मोदी की अमेरिकी यात्रा का एक महत्वपूर्ण परिणाम होगा.

24-25 जून को मिस्र की राजकीय यात्रा पर रहेंगे PM

इसके अलावा विदेश सचिव ने यह भी बताया कि मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फतह अल-सिसी के निमंत्रण पर, प्रधानमंत्री मोदी इस महीने की 24 से 25 तारीख तक मिस्र की राजकीय यात्रा करने के लिए काहिरा जाएंगे. उन्होंने कहा कि यह पीएम मोदी की मिस्र की पहली यात्रा होगी.

विदेश सचिव ने कहा, राष्ट्रपति सिसी के साथ अपनी बातचीत के अलावा, पीएम मोदी मिस्र सरकार के वरिष्ठ गणमान्य लोगों, मिस्र की कुछ प्रमुख हस्तियों के साथ-साथ मिस्र में भारतीय समुदाय के साथ बातचीत करेंगे. उन्होंने कहा, पीएम मोदी बोहरा समुदाय द्वारा पुनर्निर्मित 11वीं सदी की अल-हाकिम मस्जिद का दौरा करेंगे. विदेश सचिव क्वात्रा ने कहा, प्रधानमंत्री प्रथम विश्व युद्ध में मिस्र के लिए सर्वोच्च बलिदान देने वाले भारतीय सैनिकों को श्रद्धांजलि देने के लिए हेलियोपोलिस वार सिमेट्री का दौरा करेंगे.

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