Notice: Function _load_textdomain_just_in_time was called incorrectly. Translation loading for the newsmatic domain was triggered too early. This is usually an indicator for some code in the plugin or theme running too early. Translations should be loaded at the init action or later. Please see Debugging in WordPress for more information. (This message was added in version 6.7.0.) in /home/imagequo/domains/shrinaradmedia.com/public_html/wp-includes/functions.php on line 6121
दिल्‍ली हाईकोर्ट ने विकीपीडिया को जमकर फटकार लगाया - श्रीनारद मीडिया

दिल्‍ली हाईकोर्ट ने विकीपीडिया को जमकर फटकार लगाया

दिल्‍ली हाईकोर्ट ने विकीपीडिया को जमकर फटकार लगाया

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow

क्या इंडिया में बैन हो जाएगा विकिपीडिया?

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

दिल्ली हाई कोर्ट ने गुरुवार को विकीपीडिया को अवमानना ​​का नोटिस जारी किया। समाचार एजेंसी ANI ने विकीपीडिया पर मानहानि का मुकदमा दायर किया है।

समाचार एजेंसी ने कहा है कि, विकीपीडिया ने अपने पेज पर ऐसी जानकारी लिखी, जिसमें एएनआई को वर्तमान सरकार के लिए ‘प्रचार उपकरण’ के रूप में संदर्भित किया गया। समाचार एजेंसी ANI ने विकिपीडिया पर मानहानि का मुकदमा दायर किया है।

न्‍यूज एजेंसी एएनआई से जुड़े एक मामले में चर्चित फ्री इनसाइक्लोपीडिया साइट विकीपीडिया के खिलाफ अवमानना का नोटिस जारी किया. बेंच ने विकिपीडिया को भारतीय कानूनों का पालन न करने के लिए चेतावनी देते हुए कहा, “अगर आपको भारत पसंद नहीं है, तो कृपया भारत में काम न करें, हम सरकार से आपकी साइट को ब्लॉक करने के लिए कहेंगे.” एएनआई की तरफ से याचिका लगाकर कोर्ट में कहा गया था कि समाचार एजेंसी के बारे में जानकारी वाले पेज पर कुछ एडिट की अनुमति दी गई है.

एडिट के जरिए विकीपीडिया पर लिखा गया कि न्‍यूज एजेंसी एएनआई भारत सरकार का प्रोपेगेंडा टूल है. जिसके चलते कंपनी ने मानहानि का दावा किया. बेंच ने विकिपीडिया को एडिट करने वाले तीन अकाउंट के बारे में जानकारी देने का आदेश दिया था. लेकिन एएनआई ने आज दावा किया कि इसकी जानकारी नहीं दी गई है. एएनआई ने कथित तौर पर बताया कि विकिपीडिया ने वास्तव में यह नहीं बताया है.

बचाव में विकीपीडिया ने क्‍या कहा?
अपने बचाव में विकिपीडिया ने आज अदालत को बताया कि उसकी ओर से कुछ दस्तावेज पेश किए जाने तक सूचना जारी करने में देरी की गई थी. ऐसा इसलिए भी हुआ क्योंकि विकिपीडिया भारत में स्थित नहीं है. न्यायमूर्ति नवीन चावला ने इसपर नाराजगी जाहिर की. वेबसाइट बार एंड बेंच की एक रिपोर्ट के अनुसार, हाईकोर्ट ने कहा, “यह सवाल नहीं है कि प्रतिवादी भारत में एक इकाई नहीं है. हम यहां आपके व्यापारिक लेन-देन बंद कर देंगे. हम सरकार से विकिपीडिया को ब्लॉक करने के लिए कहेंगे, पहले भी आपने यही रुख अपनाया था. अगर आपको भारत पसंद नहीं है, तो कृपया भारत में काम न करें.”

अधिकारियों को होना होगा पेश
विकीपीडिया के अधिकारियों को पेश होने का आदेश देते हुए हाईकोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई अक्टूबर में करने का निर्णय लिया. जुलाई में विकिमीडिया फाउंडेशन ने ANI द्वारा दायर मामले पर एक बयान जारी किया, जिसमें खुद को “टेक्नोलॉजी होस्ट” के रूप में पहचाना और बताया कि यह विकिपीडिया पर प्रकाशित सामग्री में कुछ जोड़ता या एडिट  नहीं करता.

 

Leave a Reply

error: Content is protected !!