Notice: Function _load_textdomain_just_in_time was called incorrectly. Translation loading for the newsmatic domain was triggered too early. This is usually an indicator for some code in the plugin or theme running too early. Translations should be loaded at the init action or later. Please see Debugging in WordPress for more information. (This message was added in version 6.7.0.) in /home/imagequo/domains/shrinaradmedia.com/public_html/wp-includes/functions.php on line 6121
होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों को रेमेडेसिवीर इंजेक्शन इस्तेमाल नहीं करने की सलाह - श्रीनारद मीडिया

होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों को रेमेडेसिवीर इंजेक्शन इस्तेमाल नहीं करने की सलाह

होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों को रेमेडेसिवीर इंजेक्शन इस्तेमाल नहीं करने की सलाह

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow

• मरीज की देखभाल करने वालों को भी सतर्क रहने की जरूरत
• सांस लेने में दिक्कत, छाती में दर्द एवं ऑक्सीजन स्तर 94 से कम होने पर ही अस्पताल जाने की सलाह
• कम से कम 10 दिन होम आईसोलेशन में रहना जरुरी
• मास्क के भींगने पर तुरंत बदल लें मास्क, आठ घंटे से अधिक नहीं करें इस्तेमाल
• होम आईसोलेशन के लिए केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने दिए निर्देश

श्रीनारद मीडिया, पूर्णिया (बिहार):

पूरे देश में कोरोना की दूसरी लहर के कारण संक्रमण के स्वरुप में काफ़ी बदलाव देखने को मिल रहे हैं. इसे ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने होम आईसोलेशन के लिए संशोधित दिशा-निर्देश जारी किया है, जिसमें होम आईसोलेशन के लिए मरीजों की योग्यता, होम आईसोलेशन में मरीजों द्वारा ध्यान देने योग्य बातें, मरीजों की देखभाल करने वाले लोगों के लिए सलाह, चिकित्सकीय सलाह एवं अस्पताल में भर्ती होने की परिस्थितियों सहित होम आईसोलेशन में जरुरी ईलाज आदि बातों की विस्तार से जानकारी दी गयी है.

गाइडलाइन में कहा गया है कि माइल्ड या बिना लक्षण (असिम्टोमेटिक) वाले रोगी ही होम आइसोलेशन के लिए योग्य हैं. माइल्ड लक्षण वाले रोगियों को बुखार, कफ, खांसी, नाक बहना या बदं होना, सिरदर्द, थकान आदि रहता है.

चिकित्सा पदाधिकारी की सलाह के बाद लें होम आइसोलेशन:

लोगों को चिकित्सा पदाधिकारी द्वारा कोरोना संक्रमित मरीज में माइल्ड अथवा बिना लक्षणों की पुष्टि किये जाने के बाद ही होम आइसोलेशन में रहना चाहिए. सेल्फ आइसोलेशन के दौरान ऐसे रोगियों के लिए हर समय एक देखभालकर्ता को मौजूद होना जरूरी है. होम आइसोलेशन के दौरान रोगी के स्वास्थ्य के निगरानी व अद्यतन जानकारी देने के लिए देखभालकर्ता को अस्पताल के साथ संवाद बनाये रखना बहुत जरूरी है. वैसे कोविड मरीज जिनकी उम्र 60 साल से अधिक है तथा हाइपरटेंशन, मधुमेह तथा लंग, लीवर, किडनी तथा तंत्रिका तंत्र से जुड़े गंभीर रोग से ग्रसित हैं उन्हें चिकित्सा पदाधिकारी के निर्देश व सलाह के बाद ही होम आइसोलेशन में रखा जाना चाहिए.

इन मरीजों को होम आइसोलेशन में नहीं रखने की सलाह:

मंत्रालय द्वार जारी गाइडलाइन द्वारा कहा गया है कि होम आइसोलेशन के दौरान रेमेडिसिविर का इस्तेमाल बिल्कुल नहीं करना है. इसके साथ ही यह जानकारी दी गयी है कि वैसे रोगी जिनका अंग प्रत्यारोपण हुआ हो, एचआइवी ग्रसित हों या फिर कैंसर थेरेपी आदि हुआ है उन्हें होम आइसोलेशन में नहीं रखा जाना चाहिए. ऐसे मरीजों के लिए चिकित्सा पदाधिकारी द्वारा सभी जांच के बाद ही होम आइसोलेशन में रखे जाने की सलाह दी गयी है. कोविड रोगी के देखभाल करने वाले व उनके संपर्क में आने वाले सभी लोगों को तीन लेयर वाले मास्क का इस्तेमाल करें.

कोविड रोगी एवं देखभालकर्ता इन बातों का रखें ध्यान:

कोविड रोगी को घर के एक कमरे में रहने तथा विशेषतौर पर परिवार में मौजूद गंभीर रोगों से ग्रसित लोगों से दूरी बनाकर रहना है. साथ ही कमरे में पर्याप्त फ्रेश हवा की मौजूदगी एवं इसके लिए वेंटिलेशन का पूरा ध्यान रखने की सलाह दी गयी है. कमरे में देखभालकर्ता तथा रोगी दोनों तीन लेयर के मास्क इस्तेमाल करना चाहिए. अधिकतम आठ घंटे तक ही एक मास्क का इस्तेमाल करने की सलाह दी गई है. मास्क के भींग जाने के बाद उसे तुरंत बदल लें. देखभालकर्ता को मरीज से शारीरिक दूरी, नियमित अन्तराल पर हाथों की सफ़ाई एवं रोगी के द्वारा इस्तेमाल की जा रही चीजों का घर के अन्य सदस्यों से दूर रखने की हिदायत भी दी गयी है. गाइडलाइन में मास्क एवं अन्य चीजों के सुरक्षित डिस्पोजल की भी सलाह दी गयी है.

इन परिस्थितियों में चिकित्सकीय सलाह जरुरी:
• सांस लेने में तकलीफ़ होने पर
• ऑक्सीजन का स्तर 94 से कम होने पर
• छाती में लगातार दर्द का बने रहना या अचानक बढ़ जाना
• मानसिक रूप से अधिक परेशान होने पर

10 दिन बाद आ सकते हैं आइसोलेशन से बाहर:
सिविल सर्जन डॉ एस के वर्मा ने कहा होम आइसोलेशन में रहने वाले रोगी 10 दिनों के बाद बाहर आ सकते हैं. होम आइसोलेशन से बाहर आने के बाद जांच की कोई आवश्यकता नहीं होती है. होम आइसोलेशन के दौरान रोगी अधिक से अधिक आराम करें और खूब पानी पीकर शरीर में पानी की मात्रा को बढ़ायें. श्वसन संबंधी सुरक्षा तथा व्यवहार के नियमों का पालन करें. साबुन पानी से हाथों को नियमित रूप से 40 सेकेंड तक अवश्य धोंयें. व्यक्तिगत इस्तेमाल वाली चीजें साझा नहीं करें. रोगी के कमरे को एक प्रति हाइपोक्लोराइट से टेबल, दरवाजे, आदि साफ करें. कोविड के माइल्ड लक्षण वाले रोगी अपने शरीर के ऑक्सीजन स्तर की जांच करते रहना चाहिए.

यह भी पढ़े 

अवकाशप्राप्त बैंककर्मी को दी गयी भावभीनी विदाई

कोरोना से जंग हार गये पानापुर के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ गोस्वामी

टीवी एंकर रोहित सरदाना  के निधन से  मीडिया जगत में शोक की लहर

सीएम योगी ने 15 दिन में कोरोना को हराया, जांच रिपोर्ट नेगेटिव आने पर सभी को धन्यवाद कहा

तंगहाली में जी रहे हैं‘श्री कृष्णा’ के ‘भीष्म पितामाह’

वोट डालकर ही मरूंगा कहने वाले बुजुर्ग की बैलेट पर मोहर मारते ही थम गयी सांसें

Leave a Reply

error: Content is protected !!