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सीवान में शादी के एक वर्ष बाद मायके में छोड़कर पति फरार - श्रीनारद मीडिया

सीवान में शादी के एक वर्ष बाद मायके में छोड़कर पति फरार

सीवान में शादी के एक वर्ष बाद मायके में छोड़कर पति फरार

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लव अफेयर में हुई थी आशीष की हत्या,मथुरा पुलिस ने मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

सीवान में एक मुस्लिम लड़की को हिंदू लड़के से प्यार हो गया। परिवार के खिलाफ जाकर दोनों ने 1 साल पहले शादी कर ली। शादी के बाद लड़की ससुराल में भी रही। लड़के का परिवार उसे लड़की को छोड़ने के लिए दबाव बनाने लगा। एक दिन वो लड़की को मायके छोड़ आया और इसके बाद वो फिर लेने नहीं लौटा। लड़की अब न्याय की गुहार लगा रही है। उसका कहना है अब जीना-मरना पति के साथ ही है।

मामला मैरवा थाना क्षेत्र के सेमरा गांव का हैं। मैरवा थाना क्षेत्र के धनौर गांव की रहने वाली नाजमा खातून की बगल के ही सेमरा गांव के मिथुन राम से 3 साल से प्रेम प्रसंग चल रहा था। गांव आने जाने के दौरान दोनों के बीच नजदीकियां बढ़ गई। जिसके बाद दोनों में इस कदर प्यार बढ़ गया कि दोनों ने धर्म की दीवार तोड़कर साथ जीने मरने का फैसला कर लिया।

मैरवा थाना क्षेत्र के धनौर गांव की रहने वाली नाजमा खातून की बगल के ही सेमरा गांव के मिथुन राम से 3 साल से प्रेम प्रसंग चल रहा था।

प्रेमी प्रेमिका ने अपने परिवार के मर्जी के खिलाफ 23 अप्रैल 2022 को कोर्ट में शादी कर ली। शादी के बाद दोनों कुछ महीने तक हंसी खुशी के साथ जिंदगी बिताने लगे। लेकिन ससुराल पक्ष के लोग इनकी शादी से खुश नहीं थे। जिसके बाद ससुराल पक्ष के लोग अपने लड़के पर प्रेमिका को छोड़ने का दबाव बनाने लगे। प्रेमिका को प्रताड़ित किया जाने लगा।

इसी दौरान प्रेमी अपने पत्नी को उसके मायके छोड़ आया और कुछ दिन बाद वापस लेकर जाने की बात कह कर चला गया। काफी दिन बीत जाने के बाद भी प्रेमी पति अपनी पत्नी को लेने ससुराल जब नही पहुंचा, तब प्रेमिका ने उससे कई बार संपर्क करने की कोशिश की। लेकिन उसका कोई अता पता नहीं चला। जिसके बाद प्रेमिका खुद से अपने ससुराल जा पहुंची। जहां उसके ससुराल वालों ने पति की गैर मौजूदगी में उसे मारपीट कर भगा दिया।

वहीं अपने पति की तलाश में प्रेमिका थाने की चक्कर लगा रही। प्रेमिका ने थाने में पहुंचकर अपने पति और ससुराल वालों के खिलाफ आवेदन दिया है, जिसमें जिक्र किया गया है कि उसका पति 2 लाख रुपया और उसके सारे गहने लेकर फरार हो गया है। पीड़ित पत्नी ने पुलिस प्रशासन से न्याय की गुहार लगाई है और कहा है की मुझे अपने मायके में नहीं रहना है। मैंने अपने मां बाप का इज्जत नहीं रखा है तो अब मैं मायके में क्यों रहूं।जिसके लिए इज्जत लुटाई है उसी के साथ जिंदगी बिताऊंगी, मरेंगे या जिएंगे उसी के साथ रहेंगे।

लव अफेयर में हुई थी आशीष की हत्या,मथुरा पुलिस ने मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया

मथुरा के थाना जैंत क्षेत्र में शुक्रवार रात हुई आशीष की हत्या में सनसनीखेज खुलासा हुआ है। उसकी प्रेमिका रूपा के पिता और मंगेतर ने पहले आशीष का गला घोंटा, फिर कुल्हाड़ी से सिर पर वार किए। सबूत मिटाने के लिए शव में आग लगा दी थी। इस मामले में पुलिस ने आरोपियों को मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया है।

लिव इन में आशीष और रूपा साथ रहते थे
सुल्तानपुर के गोसाईगंज का रहने वाला 32 वर्षीय आशीष मथुरा के जैंत इलाके के कृष्णा वैली होटल में सफाई नायक की नौकरी कर रहा था। यहीं पर आशीष की मुलाकात बिहार के सीवान की रहने वाली युवती रुपा से मुलाकात हुई। रुपा आशीष को चाहने लगी और उसी के साथ लिव इन में रहने लगी। आशीष पहले से शादीशुदा था।

रुपा की हो चुकी थी सगाई

रुपा की सगाई वहीं के रहने वाले आकाश से हो चुकी थी, लेकिन रुपा खुश नहीं थी। आकाश रुपा को प्यार करता था। आकाश को जब आशीष के बारे में पता चला तो वह आग बबूला हो गया। उसने रुपा के पिता वीर बहादुर के साथ मिलकर साजिश रची। रूपा के पिता वीर बहादुर को शक था कि गांव में 10 बीघा जमीन को रुपा आशीष के नाम कर देगी। इसलिए वो भी हत्या की प्लानिंग में शामिल हो गए।)

गोरखपुर के राहुल को दी आशीष की सुपारी

आकाश और वीर बहादुर ने आशीष को रास्ते से हटाने के लिए गोरखपुर के बांझगांव निवासी राहुल से संपर्क किया। राहुल को आकाश पहले से जानता था। आकाश ने राहुल को रास्ते से हटाने के लिए 70 हजार रुपए में सुपारी दी। सुपारी लेने के बाद राहुल वारदात से 10 दिन पहले मथुरा आया और उसने आशीष के साथ दोस्ती बढ़ाई। 10 दिन तक आशीष के साथ रहने के बाद जब दोनों में दोस्ती हो गई तो राहुल ने आकाश और वीर बहादुर को मथुरा बुला लिया।

पहले खाना खाया फिर की हत्या

मथुरा आने के बाद आकाश और राहुल शुक्रवार की शाम को आशीष के साथ उसी की मोटर साइकिल पर घूमने निकले। इसके बाद तीनों ने दिल्ली आगरा नेशनल हाईवे पर स्थित एक ढाबे पर खाना खाया। इसके बाद तीनों मोटर साइकिल पर सवार होकर वापस लौटने लगे। यह लोग जैसे ही छटीकरा कस्बे से गरुड़ गोविंद मंदिर की तरफ आगे बढ़े और पहले से तय किए गए स्थान पर पहुंच गए। यहां राहुल और आकाश ने पहले रस्सी से आशीष का गला दबाया फिर छुपाकर रखी कुल्हाड़ी उसके सर पर दे मारी। आशीष की हत्या करने के बाद राहुल और आकाश उसके शव को पास में ही सरसों के खेत में ले गए। जहां आशीष की ही मोटर साइकिल से पेट्रोल निकालकर सबूत मिटाने के उद्देश्य से शव को आग लगा दी।

आशीष के पिता ने कराया था हत्या का मुकद्दमा दर्ज

शव बरामद होने के बाद आशीष के पिता अशोक मिश्रा ने थाना जैंत में रुपा,आकाश सहित होटल कर्मचारियों के खिलाफ तहरीर दी थी। पुलिस ने मुकद्दमा दर्ज करने के बाद आरोपियों की तलाश शुरू कर दी थी। पुलिस की एक टीम बिहार के सीवान भी गई लेकिन कोई सफलता हाथ नहीं लगी।

मुठभेड़ में घायल हुए आकाश और राहुल

बुधवार की देर रात थाना जैंत पुलिस को सूचना मिली कि आकाश,राहुल और वीर बहादुर कहीं भागने की फिराक में हैं। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची जहां आकाश और राहुल से मुठभेड़ हो गई। मुठभेड़ में आकाश और राहुल घायल हो गए। पुलिस ने मौके से वीर बहादुर को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने घायल हुए आकाश और राहुल को इलाज के लिए अस्पताल भिजवा दिया।

यह हुआ बरामद

पुलिस ने आरोपियों के पास से हत्या में प्रयोग की गई कुल्हाड़ी,रस्सी ,315 बोर के 2 तमंचा के अलावा आशीष की मोटर साइकिल और मोबाइल बरामद किया। पुलिस अब राहुल के आपराधिक इतिहास का पता लगाने का प्रयास कर रही है।

आशीष था परिवार का इकलौता सहारा

सुल्तानपुर का रहने वाला आशीष परिवार का कमाने वाला इकलौता सदस्य था। पिता अशोक की तबीयत खराब रहने के कारण पूरे परिवार की उसी के ऊपर जिम्मेदारी थी। आशीष की 9 वर्ष पहले शादी हुई थी उसके दो बेटी और एक बेटा है। आशीष 9 महीने पहले मथुरा आया था उससे पहले वह लखनऊ में नौकरी करता था। दिसंबर में रुपा आ कर रहने लगी।

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