Notice: Function _load_textdomain_just_in_time was called incorrectly. Translation loading for the newsmatic domain was triggered too early. This is usually an indicator for some code in the plugin or theme running too early. Translations should be loaded at the init action or later. Please see Debugging in WordPress for more information. (This message was added in version 6.7.0.) in /home/imagequo/domains/shrinaradmedia.com/public_html/wp-includes/functions.php on line 6121
नए साल पर करोड़ों का चिकन-मटन खा गए बिहार में लोग,कैसे? - श्रीनारद मीडिया

नए साल पर करोड़ों का चिकन-मटन खा गए बिहार में लोग,कैसे?

नए साल पर करोड़ों का चिकन-मटन खा गए बिहार में लोग,कैसे?

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow

एक दिन में करोड़ों की मीट-मछली खा गए बिहार के लोग

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

नया वर्ष और दिन सोमवार। मांसाहारी दिन । पिकनिक मनाने आए अधिकांशत: पर्यटकों में मांसाहारी ही खाने वाले दिखाई दिए। शाकाहारी पर्यटकों का पुरी तरह से अकाल था ।जितने पर्यटक नंदनगढ़ और अशोक स्तंभ पिकनिक मनाने आए थे, उन सबको मांस, मछली और मुर्गे की जरूरत थी।   चीकों ने अपने पूर्व के अनुभव का फायदा उठाते हुए इस बार पर्यटकों के लिए ट्रक से बकरा, बकरी व मुर्गा मंगाया था। इधर, सुबह से ही पर्यटक चीकों के दुकानों पर मांस की खरीदारी के लिए उमड़ पड़े थे।

कोई पर्यटक पांच किलो तो कोई दस किलो की खरीदारी कर रहा था। चीक भी ग्रहकों की मांग व भीड़ से अपनी खुशी को रोक नहीं पा रहे थे। चीकों ने भी बाहरी पर्यटकों के साथ बिना भेदभाव के सैकड़ों पर्यटकों को खस्सी के नाम पर बकरी परोसकर उनसे 6 सौ रुपया लेने में कोई गुरेज नहीं रखी। स्थानीय को खस्सी दिया, क्योंकि मांस नहीं गलने पर कहीं लेने के देने नहीं पड़ जाय।

वहीं दूसरी ओर मुर्गा के दुकानदारों का भी बल्ले बल्ले रहा, हां थोड़ी कम भीड़ मछली के दुकानों पर थी। लेकिन, साग सब्जी के दुकानदार नया वर्ष में जरूर ग्राहकों का इंतजार करते दिखे। सब्जी की दुकानें बंद थीं। इस बाबत चीकपट्टी में मांस दुकानदारों से बातचीत करने पर पता चला कि इस बार यहां पर करीब 20 से 25 लाख तक का मांस, मछली व मुर्गे की बिक्री हुई है। नया वर्ष में सबसे अधिक भीड़ और बल्ले बल्ले चीकपट्टी में ही रहा। असली खुशी नव वर्ष में चीकों के चेहरे पर ही देखने को मिला।

नये साल के स्वागत में लोगों ने जमकर मटन, चिकेन और मछली का स्वाद लिया. सोमवार होने कारण मटन, चिकेन और मछली की बिक्री जमकर हुई. मटन और चिकेन खरीदने के लिए सुबह सात बजे से ही लोग दुकानों पर पहुंचने लगे थे. कुछ लोगों ने भीड़ से बचने के लिए एडवांस बुकिंग करा रखी थी. कारोबारियों की मानें, तो इस बार नये साल के मौके पर लगभग एक करोड़ रुपये का चिकेन, मटन और मछली का कारोबार हुआ.

मटन 600 के बदले  900 रुपये बिका

पश्चिम बंगाल, झारखंड और उत्तर प्रदेश से खस्सी, चिकेन और मछली मंगाकर स्टॉक कर लिया था. मटन की मांग देखते हुए मटन कारोबारी ने मटन के दाम 600 से बढ़ाकर 900 रुपये प्रति किलो तक कर दिये थे. इसके बावजूद मटन के लिए होड़ मटन लेने के लिए दुकानों पर होड़ मची रही. चिकेन की मांग सबसे अधिक रही.हालांकि, मछली कारोबारी धनंजय सिंह ने बताया कि ठंड की वजह से मछली की मांग उम्मीद से कुछ कम रही.

तीन दिन में 50 लाख का मछली खा गए लोग

नववर्ष को लेकर मटन, चिकेन व मछली की दुकानों पर रौनक बढ़ी रही. व्यवसायियों के अनुसार नववर्ष पर रौनक तीन दिनों तक रहती है. व्यवसायियों का अनुमान है कि इन तीन दिनों में 50 लाख रुपये से अधिक का चिकेन व अंडा और 50 लाख रुपये से अधिक का मटन व मछली की बिक्री होगी.

210 रुपये बिका ड्रेसिंग चिकेन

चिकेन के थोक व्यवसायियों ने बताया कि भागलपुर में 300 क्विंटल से अधिक चिकेन की बिक्री का अनुमान है. फिलहाल 150 रुपये किलो खड़ा व 210 रुपये तक ड्रेसिंग चिकेन बिक रहे हैं. ठंड से पहले चिकेन 130-140 रुपये किलो था. एक थोक चिकन कारोबारी ने बताया उनका एक दिन में 40 क्विंटल से अधिक चिकेन की बिक्री होगी.

Leave a Reply

error: Content is protected !!