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सत्य न्याय के पाठ पर चलना,जीवन संघर्षों से लड़ना, शिक्षक हमें सिखाते हैं. - श्रीनारद मीडिया

सत्य न्याय के पाठ पर चलना,जीवन संघर्षों से लड़ना, शिक्षक हमें सिखाते हैं.

सत्य न्याय के पाठ पर चलना,जीवन संघर्षों से लड़ना, शिक्षक हमें सिखाते हैं.

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श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

सत्य न्याय के पाठ पर चलना, शिक्षक हमें बताते हैं.

जीवन संघर्षों से लड़ना, शिक्षक हमें सिखाते हैं.

  • शिक्षण एक बहुत ही महान पेशा है जो किसी व्यक्ति के चरित्र, क्षमता, और भविष्य को आकार देता हैं. अगर लोग मुझे एक अच्छे शिक्षक के रूप में याद रखते हैं, तो मेरे लिए ये सबसे बड़ा सम्मान होगा.
  • शिक्षा सत्य की खोज है. यह ज्ञान और आत्मज्ञान से होकर गुजरने वाली एक अंतहीन यात्रा हैं.
  • अगर तुम सूरज की तरह चमकना चाहते हो तो पहले सूरज की तरह जलो.
  • अपने मिशन में कामयाब होने के लिए, आपको अपने लक्ष्य के प्रति एकचित्त निष्ठावान होना पड़ेगा.
  • इंसान को कठिनाइयों की आवश्यकता होती है, क्योंकि सफलता का आनंद उठाने के लिए ये ज़रूरी हैं.
  • पुस्तकें वो साधन हैं जिनके जरिए हम विभिन्न संस्कृतियों के बीच पुल का निर्माण कर सकते हैं.
  • उम्र या युवावस्था का समय से लेना-देना नहीं है. आप अपने आप को कितना नौजवान या बूढा महसूस करते हैं यही मायने रखता है.
  • सचमुच ऐसा कोई बुद्धिमान नहीं है जो स्वयं को दुनिया के कामकाज से अलग रख कर इसके संकट के प्रति असंवेदनशील रह सके.
  • किताब पढ़ना हमें चिंतन और सच्चे आनंद की आदत देता है.
  • ऐसा बोला जाता है कि एक साहित्यिक प्रतिभा, सबको समान दिखती है पर उसके समान कोई नहीं दिखता है.
  • शिक्षक वह नहीं जो छात्र के दिमाग में तथ्यों को जबरन ठूंसे, बल्कि वास्तविक शिक्षक तो वह है जो उसे आने वाले कल की चुनौतियों के लिए तैयार करें.
  • एक साहित्यिक प्रतिभा, कहा जाता है कि हर एक की तरह दिखती है, लेकिन उस जैसा कोई नहीं दिखता.
  • शिक्षा का परिणाम एक मुक्त रचनात्मक व्यक्ति होना चाहिए जो ऐतिहासिक परिस्थितियों और प्राकृतिक आपदाओं के विरुद्ध लड़ सके.
  • शिक्षा के द्वारा ही मानव मस्तिष्क का सदुपयोग किया जा सकता है. अत:विश्व को एक ही इकाई मानकर शिक्षा का प्रबंधन करना चाहिए.
  • शिक्षक सबसे अच्छा मित्र है. एक शिक्षक हर जगह सम्मान पाता है.
  • जैसे एक बछड़ा हज़ारो गायों के झुंड मे अपनी मां के पीछे चलता है. उसी प्रकार आदमी के अच्छे और बुरे कर्म उसके पीछे चलते हैं.
  • विद्या को चोर भी नहीं चुरा सकता.
  • सबसे बड़ा गुरु मंत्र, अपने राज किसी को भी मत बताओ. ये तुम्हे खत्म कर देगा.
  • आदमी अपने जन्म से नहीं अपने कर्मों से महान होता है.
  • एक समझदार आदमी को सारस की तरह होश से काम लेना चाहिए और जगह, वक्त और अपनी योग्यता को समझते हुए अपने कार्य को सिद्ध करना चाहिए.
  • ईश्वर मूर्तियों में नहीं है. आपकी भावनाएँ ही आपका ईश्वर है. आत्मा आपका मंदिर है.
  • पुस्तकें एक मुर्ख आदमी के लिए वैसे ही हैं, जैसे एक अंधे के लिए आइना.
  • एक राजा की ताकत उसकी शक्तिशाली भुजाओं में होती है. ब्राह्मण की ताकत उसके आध्यात्मिक ज्ञान में और एक औरत की ताक़त उसकी खूबसूरती, यौवन और मधुर वाणी में होती है.
  • आग सिर में स्थापित करने पर भी जलाती है. अर्थात दुष्ट व्यक्ति का कितना भी सम्मान कर लें, वह सदा दुःख ही देता है.
  • गरीब धन की इच्छा करता है, पशु बोलने योग्य होने की, आदमी स्वर्ग की इच्छा करते हैं और धार्मिक लोग मोक्ष की.
  • जो गुजर गया उसकी चिंता नहीं करनी चाहिए, ना ही भविष्य के बारे में चिंतिंत होना चाहिए. समझदार लोग केवल वर्तमान में ही जीते हैं.
  • संकट में बुद्धि भी काम नहीं आती है.
  • जो जिस कार्ये में कुशल हो उसे उसी कार्ये में लगना चाहिए.
  • किसी भी कार्य में पल भर का भी विलम्ब ना करें.
  • सच्ची सफलता और आनंद का सबसे बड़ा रहस्य यह है- वह पुरुष या स्त्री जो बदले में कुछ नहीं मांगता. पूर्ण रूप से निःस्वार्थ व्यक्ति, सबसे सफल हैं.
  • चिंतन करो, चिंता नहीं, नए विचारों को जन्म दो.
  • किसी दिन, जब आपके सामने कोई समस्या ना आये–आप सुनिश्चित हो सकते हैं कि आप गलत मार्ग पर चल रहे हैं.
  • तुम्हें कोई पढ़ा नहीं सकता, कोई आध्यात्मिक नहीं बना सकता. तुमको सब कुछ खुद अंदर से सीखना हैं. आत्मा से अच्छा कोई शिक्षक नही हैं.
  •           उठो, जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य की प्राप्ति ना हो जाये.यह भी पढ़े……..
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