बॉम्बे हाईकोर्ट ने मराठा आरक्षण आंदोलन पर जताई चिंता है,क्यों?
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
बॉम्बे हाईकोर्ट ने कहा कि मराठा आरक्षण आंदोलन के कारण शहर पूरी तरह से ठप्प हो गया है और स्थिति गंभीर है। जानकारी के मुताबिक, आंदोलनकारी मनोज जारंगे ने आंदोलन के चौथे दिन पानी छोड़ दिया है।
हाईकोर्ट ने मुंबई में सामान्य स्थिति बहाल करने का आग्रह किया और आंदोलन का नेतृत्व कर रहे जारंगे और उनके समर्थकों को स्थिति सुधारने और मंगलवार दोपहर तक सभी सड़कें खाली कराने को कहा है।
सड़कों से कब्जा क्यों नहीं हटाया जा रहा- हाई कोर्ट
कोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार से पूछा कि राज्य के विभिन्न हिस्सों से मुंबई आए आंदोलनकारियों द्वारा कब्जा की गई सड़कों को क्यों नहीं खाली कराया जा रहा है और उसे यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि और ज्यादा प्रदर्शनकारी मुबंई में न घुसें।
‘…तो 5 करोड़ मराठा सड़कों पर उतरेंगे’
आजाद मैदान से कुछ 100 मीटर की दूरी पर स्थित, हाईकोर्ट में आरक्षण आंदोलन और उसके परिणामों पर बहस के दौरान, जरांगे कार्यकर्ता अडिग रहे और उन्होंने चेतावनी दी कि अगर मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस संख्याबल में मजबूत इस समुदाय की आरक्षण मांगों पर ध्यान नहीं देते हैं, तो पांच करोड़ से ज्यादा मराठा मुंबई की सड़कों पर उतरेंगे।
राधाकृष्ण विखे पाटिल ने दिए सुलह के संकेत
इस गतिरोध के बीच सुलह का संकेत देते हुए, वरिष्ठ मंत्री राधाकृष्ण विखे पाटिल, जो मराठा आरक्षण पर कैबिनेट उप-समिति के प्रमुख हैं, उन्होंने कहा कि महायुति सरकार एक ऐसे समाधान पर काम कर रही है जो अदालत में टिकेगा।
29 अगस्त से भूख हड़ताल पर जरांगे
मनोज जारंगे शुक्रवार (29 अगस्त) से आजाद मैदान में भूख हड़ताल कर रहे हैं और ओबीसी के तहत सरकारी नौकरियों और शिक्षा में मराठा समुदाय को 10 प्रतिशत आरक्षण देने की मांग कर रहे हैं। उनके समर्थकों ने दावा किया कि उन्होंने सोमवार से पानी पीना बंद कर दिया है।
मनोज जरांगे पाटिल के नेतृत्व में मराठा आरक्षण की मांग को लेकर मुंबई में चल रहे आंदोलन के कारण दक्षिण मुंबई में यातायात व्यवस्था ध्वस्त होती नजर आई। शनिवार को इस आंदोलन का दूसरा दिन था। दक्षिण मुंबई क्षेत्र में भारी यातायात जाम की स्थिति रही, क्योंकि प्रदर्शनकारियों ने छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस (सीएसएमटी) और बृहन्मुंबई नगर निगम मुख्यालय के पास महत्वपूर्ण चौक को जाम कर दिया है।
प्रदर्शनकारियों की शिकायत
चौक से सड़कें गेटवे ऑफ इंडिया, मंत्रालय, विधान भवन, चर्चगेट, मेट्रो सिनेमा और पश्चिमी नौसेना कमान मुख्यालय तक जाती हैं। प्रदर्शनकारियों ने भोजन, पानी, सुबह के समय शौच की सुविधा की कमी की शिकायत की और सड़कों पर बैठ गए। उन्होंने दक्षिण मुंबई क्षेत्र में कई होटलों और खाऊ गलियों के बंद होने की भी शिकायत की।
भारी बारिश के बावजूद जरांगे पाटिल आजाद मैदान के शेड में डटे हैं। वहां वे अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल कर रहे हैं, जबकि सैकड़ों समर्थकों ने सीएसएमटी और उपनगरीय रेलवे स्टेशनों तथा फोर्ट क्षेत्र की इमारतों के बरामदों में रात बिताई।
मुंबई पुलिस की अपील
मुंबई पुलिस और मुंबई यातायात पुलिस के अधिकारी भीड़ से विरोध प्रदर्शन के लिए निर्धारित क्षेत्र, आजाद मैदान में जाने का अनुरोध कर रहे हैं। जबकि आंदोलनकारी विरोधस्वरूप सीएसएमटी और बीएमसी मुख्यालय क्षेत्र में पोहा पका रहे हैं।
राजनेताओं के खिलाफ नारेबाजी
साथ ही वे राजनेताओं के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी कर रहे हैं। शाम को कई प्रदर्शनकारी जहांगीर आर्ट गैलरी में घुस गए। जरांगे पाटिल ने शुक्रवार को आंदोलन शुरू करते हुए कहा कि मैं गोलियां खाने को तैयार हूं। मैं जेल जाने को तैयार हूं। चाहे कुछ भी हो जाए। मैं पीछे नहीं हटने वाला हूं।