ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड वक्फ बिल पर लोगों को भ्रमित कर रही है- जगदंबिका पाल

ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड वक्फ बिल पर लोगों को भ्रमित कर रही है- जगदंबिका पाल

सरकार ने पीछे नहीं खींचे कदम तो…

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

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भाजपा सांसद और वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 पर संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) के अध्यक्ष जगदंबिका पाल ने विधेयक के खिलाफ योजनाबद्ध विरोध के लिए ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (एआईएमपीएलबी) की आलोचना की है। उन्होंने दावा किया कि इससे विभाजन पैदा हो सकता है और संसद के कानून बनाने के अधिकार को चुनौती मिल सकती है।

लोगों को भ्रमित करने की कोशिश

वक्फ बिल पर लोगों को भ्रमित करने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि एआईएमपीएलबी ने पहले ही समिति के समक्ष अपनी चिंताएं प्रस्तुत कर दी थीं और रिपोर्ट में उन बिंदुओं पर विचार किया गया है। इतना ही नहीं, हमने इसे अपनी रिपोर्ट का हिस्सा भी बनाया है तो फिर वे दिल्ली में जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन क्यों कर रहे हैं?

महिलाओं और विधवाओं को मिलेगा लाभ

संशोधन के बाद एक बेहतर कानून बनने जा रहा है। गरीबों, महिलाओं, विधवाओं और बच्चों को भी वक्फ का लाभ मिलेगा। उन्होंने मुस्लिम पर्सनल ला बोर्ड पर लोगों को गुमराह करने का आरोप लगाया। पाल ने कहा कि अगर वे इस वक्फ (संशोधन) के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने जा रहे हैं तो कहीं न कहीं वे देश के लोगों में नफरत पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं।

उनके द्वारा उठाया गया यह कदम लोकतांत्रिक नहीं है। वहीं, एआईएमपीएलबी के प्रवक्ता सैयद कासिम रसूल इलियास ने दावा किया कि सरकार का उद्देश्य हिंदुओं और मुसलमानों के बीच विभाजन पैदा करना और देश में अशांति भड़काना है।
ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) आज यानी सोमवार को दिल्ली के जंतर-मंतर पर वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहा है। काफी संख्या में मुस्लिम समाज के लोग जंतर-मंतर पर जुटे हैं और वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 के विरोध में धरना दे रहे हैं।

मौलाना खालिद सैफुल्ला रहमानी ने दी चेतावनी

ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के अध्यक्ष खालिद सैफुल्लाह ने कहा कि मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने देश के मुस्लिमों को जगाने का काम किया है। मौलाना खालिद सैफुल्ला रहमानी ने कहा हमारी यह लड़ाई सिर्फ वक्फ के बचाव की ही नहीं, संविधान को बचाने, जुल्म, नाइंसाफी के खिलाफ लड़ाई है। इस लड़ाई को लंबे समय तक लड़ेंगे, सबको इंसाफ दिलाने की कोशिश करेंगे। जोर-जबरदस्ती से कानून पारित होता है तो उसी अंदाज में जवाब दिया जाएगा।
उधर, सांसद महिबुल्लाह नदवी ने कहा कि मजहबी मामलों में सरकार दखलंदाजी कर रही है। वहीं, मौलाना कल्बे जवाद ने कहा कि यह कहा जा रहा है कि यह तरक्की का बिल है, लेकिन मैंने कहा यह सांप का बिल, जहर भरा,  मुस्लिमों की बर्बादी का बिल है।
मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के प्रवक्ता कासिम रसूल इलियास ने कहा कि अगर बिल पारित हुआ तो किसान आंदोलन की तर्ज पर आंदोलन होगा। वक्फ बिल को लेकर अभी पटना और विजयवाड़ा में विरोध चल रहा है, अगर बिल वापस नहीं लिया गया तो इसी तरह अन्य सभी राज्यों में आंदोलन, फिर देशभर में जिला स्तर पर आंदोलन होगा।

क्या बोले सांसद असदुद्दीन ओवैसी?

वहीं, विरोध-प्रदर्शन में पहुंचे एआईएमआईएम (AIMIM) सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि हमारा काम विरोध करना है, क्योंकि ये बिल असंवैधानिक है। ओवैसी ने कहा कि यह बिल वक्फ की जायदाद को बचाने के लिए नहीं है बल्कि वक्फ की जायदादों को खत्म करने के लिए है। उन्होंने कहा कि इनकी नीयत खराब है, ये चाहते हैं कि दो समुदायों में दूरियां बढ़ें।

वक्फ संशोधन विधेयक पर विपक्ष कर रहा गुमराह: किरेन रिजिजू

केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजिजू ने जोर देकर कहा कि वक्फ संशोधन विधेयक पर मुस्लिम समाज में भ्रम फैलाया जा रहा है। लाउडस्पीकर से गली-गली गलत संदेश दिया जा रहा है कि सरकार वक्फ की जमीनें छीन लेगी, कब्रगाहों पर कब्जा कर लेगी। यह सारी गलत बातें हैं, लोगों को गुमराह किया जा रहा है। 

कानून से चलता है हिंदुस्तान

उन्होंने आगे कहा कि हिंदुस्तान कानून से चलता है। कैसे कोई किसी की जमीन छिन सकता है? यह सोचना ही गलत है और इससे बड़ा कोई झूठ नहीं हो सकता है। केंद्रीय मंत्री का यह स्पष्ट रुख एक बार फिर सोमवार को जंतर-मंतर पर वक्फ संशोधन विधेयक के विरोध में मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की ओर से आयोजित धरना-प्रदर्शन की पूर्व संध्या पर आया है।
वह इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर में दिल्ली भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा द्वारा आयोजित रोजा इफ्तार पार्टी से इतर पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे। इफ्तार पार्टी में दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता, दिल्ली सरकार में मंत्री आशीष सूद व अल्पसंख्यक मोर्चा दिल्ली के अध्यक्ष अनीस अब्बासी समेत अन्य पदाधिकारी शामिल थे।

विपक्षों दलों पर लगाया झूठ फैलाने का आरोप

इस मौके पर मुख्यमंत्री को मोर्चा के पदाधिकारियों ने राम दरबार भेंट की। किरेन रिजिजू ने कहा कि अगर सरकार कुछ गलती करती भी है तो न्यायालय है। लोग न्यायालय जा सकते हैं। उन्होंने विपक्षी दलों पर झूठ फैलाने का आरोप लगाते हुए कहा कि विपक्ष का काम विरोध करना है, लेकिन झूठ तो न बोले।

उन्होंने कहा कि मोदी सरकार यह कानून मुस्लिम समाज के भलाई के लिए लाई है। वैश्विक स्तर पर देश में सर्वाधिक वक्फ की जमीन है, सरकार की जिम्मेदारी है कि उसका फायदा समाज को मिले। विपक्ष व मुस्लिम संगठनों के आरोपों के जवाब में उन्होंने कहा कि जेपीसी पर सभी सवालों का जवाब दिया गया है। जब यह कानून संसद में आएगी तो एक-एक बात का जवाब दूंगा।

प्रदर्शन में भाग लेंगे वरिष्ठ पदाधिकारी

उधर, मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के एक पदाधिकारी ने बताया कि वक्फ संशोधन विधेयक के विरोध में सोमवार को आयोजित विरोध प्रदर्शन में जमीयत उलेमा-ए-हिंद, जमात-ए-इस्लामी, जमीयत अहले हदीस व ऑल इंडिया मिल्ली काउंसिल जैसे धार्मिक संगठनों के वरिष्ठ पदाधिकारी विरोध प्रदर्शन में भाग लेंगे।

इसी तरह, कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, विपक्ष के नेता राहुल गांधी, सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव, राजद से मनोज झा, आप से संजय सिंह समेत डीएमके, एआइएमआइएम, तृणमुल कांग्रेस अन्य विपक्षी दलों को भी आमंत्रित किया गया है। खासकर विपक्षी दलों के वह नेता मौजूद होंगे, जिन्होंने जेपीसी में वक्फ संशोधन विधेयक का विरोध किया था। पदाधिकारी के अनुसार, प्रदर्शन में केंद्र सरकार के विरुद्ध आगे के आंदोलन की घोषणा होगी।

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