पारम्परिक फगुआ गायन से गूंजा एकमा का माधोपुर गांव

पारम्परिक फगुआ गायन से गूंजा एकमा का माधोपुर गांव

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श्रीनारद मीडिया,  सागर कुमार, रसूलपुर, सारण (बिहार):

 

रसूलपुर के माधोपुर गांव में पारम्परिक फगुआ गायन करते ग्रामीण

सारण जिले के रसूलपुर थाना क्षेत्र के माधोपुर गांव में पारम्परिक फगुआ गायन का आयोजन गुरूवार की रात हुआ।होली के पारम्परिक गायन के दौरान ढ़ोल ,झाल ,मजिरे से आधी रात तक गांव गूजता रहा।ग्रामीण तपन उपाध्याय व अशोक उपाध्याय का पारम्परिक नृत्य आकर्षण का केन्द्र रहा।

समाजसेवी पं. कौशलेन्द्र मिश्र की अगुवाई में होली के पारम्परिक फगुआ सुमिरहुं श्री भगवान आहे लाला गीत से कार्यक्रम की शुरुआत हुई।फिर घरही कौशल्या मैया करेली सगुनवा बनहीं में राम जी के बितेला फगुनवा , हाथ लिए बेलपत्र के दऊरा मन से महादेव पूजेली गउरा आदि धमार गीतों की सामुहिक गान ने कार्यक्रम की उंचाई प्रदान की।

गायन में मुख्य रूप से तपन उपाध्याय, गुदरी साह, अशोक उपाध्याय ,पंकज वर्णवाल ,रामेश्वर गोप ,मिथिलेश राय ,संदीप उपाध्याय आदि शामिल हुए तो योगेन्द्र प्रसाद और योगेन्द्र राय ने पारम्परिक ढ़ोलक वादन किया।

इसके पूर्व कार्यक्रम का उद्घाटन करते कौशलेन्द्र मिश्र ने कहा कि होली गायन से समाज में भाईचारे को बढ़ावा मिलता है।पारम्परिक गायन को सोशल पर प्रतिक्रिया देते हुए लोगों ने सराहना की।

प्रसिद्ध संगीतकार गायक उदय नारायण सिंह ने कहा कि जो स्वाभाविक था,अब मैनेज हो रहा है।जब गांवों में सांझ होते फगुआ ठनकता था,आज लोगों को आमंत्रित करना पड़ रहा है।यह लोक परंपराओं के भविष्य के लिए सुखद लक्षण नहीं है।तथापि हो रहा है,यह भी बड़ी बात है।
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