पुलिस हिरासत में हमें घोर यातना दिया गया- साध्वी प्रज्ञा
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
2008 के मालेगांव ब्लास्ट केस की आरोपी साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर को कोर्ट ने बरी कर दिया है। वहीं, साध्वी प्रज्ञा का कहना है कि जांच के दौरान गलत जानकारी न फैलाने के कारण उन्हें काफी टॉर्चर किया गया था। भोपाल एअरपोर्ट पर मीडिया से बातचीत के दौरान साध्वी प्रज्ञा ने कहा, “मुझसे गलत जानकारी फैलाने के लिए कहा गया था, लेकिन मैंने ऐसा नहीं किया। इसलिए मुझे बहुत टॉर्चर किया गया था।”
भगवा आतंकवाद नहीं हो सकता: साध्वी प्रज्ञा
साध्वी प्रज्ञा के अनुसार, “हिंदू आतंकवाद कभी साबित नहीं हो सकता। कांग्रेस ने हमेशा से हिंदुओं को कुचला है। हम अपने ही देश में आतंकवादी हो ही नहीं सकते। कौन कहता है कि आतंकवाद का रंग नहीं होता? ये हरा रंग लेकर जिस तरह पहलगाम में धर्म पूछकर गोली मारा गया।”
साध्वी प्रज्ञा ने क्या कहा?
साध्वी प्रज्ञा ने मुंबई के पूर्व पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह पर निशाना साधते हुए कहा, “वो बहुत निकृष्ट व्यक्ति है। उसने कानून से परे जाकर मुझे प्रताड़नाएं दी हैं। वो अधिकारी के पद पर रहने के काबिल नहीं हैं। अकेले परमबीर सिंह ने नहीं बल्कि पूरे ATS के अधिकारियों ने प्रताड़ित किया है। मैं 24 दिनों तक पुलिस कस्टडी में रही और उनकी प्रताड़नाएं झेलती रही।”
कस्टडी में बनाया दबाव: साध्वी प्रज्ञा
साध्वी प्रज्ञा का बयान ऐसे समय सामने आया है, जब मालेगांव ब्लास्ट देश में एक बार फिर सुर्खियां बटोर रहा है। अदालत से बरी होने के बाद पहली बार भोपाल पहुंची साध्वी प्रज्ञा का कहना है कि पुलिस कस्टडी के दौरान उनपर कई बड़े नेताओं का नाम लेने का आरोप लगाया गया था। साध्वी प्रज्ञा ने कहा-मुझसे बहुत बड़े-बड़े लोगों के नाम जबरदस्ती बोलने के लिए कहा। मैंने नहीं बोला, इसलिए उन्होंने मुझे प्रताड़ित किया। उन नामों में विशेषरूप से भागवत जी, मोदी जी, योगी जी और इंद्रेश जी का नाम लेने के लिए दबाव बनाया गया।
कांग्रेस पर बोला हमला
कांग्रेस पर हमला बोलते हुए साध्वी प्रज्ञा ने कहा, “कांग्रेस ने मुस्लिम वर्ग के लिए तुष्टिकरण की नीति अपानाई। उन्होंने इसका भरपूर उपयोग किया। हिंदूओं को प्रताड़ित किया गया। उन्होंने भगवा और हिंदुत्व को आतंकवाद कह दिया। कांग्रेस ने यह कुचक्र रचा।”
रिहाई के बाद भोपाल पहुंची साध्वी प्रज्ञा
बता दें कि 2008 के मालेगांव ब्लास्ट केस में साध्वी प्रज्ञा समेत कई लोगों को गिरफ्तार किया गया था। हाल ही में NIA कोर्ट ने सबूतों के अभाव में उन्हें बरी कर दिया है। रिहाई के बाद साध्वी प्रज्ञा पहली बार अपने निवास स्थान भोपाल पहुंची, जहां उन्होंने मीडिया से बातचीत के दौरान कई बड़े खुलासे किए।
संवाददाताओं से बात करते हुए उन्होंने कहा कि हिंदू आतंकी नहीं हो सकता है। उन्होंने यह भी कहा कि आतंकवाद का रंग होता। देशवासियों ने पहलगाम हमले के दौरान आतंकवाद का रंग देखा, जब धर्म पूछकर पर्यटकों को मौत के घाट उतारा गया।
प्रज्ञा ठाकुर सिंह ने आगे कहा कि लोग कहते हैं कि रंग मायने नहीं रखता है, लेकिन रंग निश्चित रूप से मायने रखता है। ये हरा रंग लेकर के जिस प्रकार से हमारे पहलगाम में लोगों से उनका धर्म पूछा कि क्या तुम हिंदू हो और फिर उन्हें मार दिया।
‘मुझे कई लोगों के नाम लेने के लिए मजबूर किया गया’
वहीं, साध्वी प्रज्ञा ठाकुर सिंह ने कहा कि मुझे प्रमुख व्यक्तियों के नाम लेने के लिए मजबूर किया, लेकिन मैंने इनकार कर दिया। चूंकि मैंने उनकी मांगें नहीं मानीं, इसलिए उन्होंने मुझे प्रताड़ित किया।
कांग्रेस पर भी बरसीं प्रज्ञा सिंह
उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस की हमेशा से यही नीति रही है, हिंदुओं पर अत्याचार करते हुए मुसलमानों का तुष्टिकरण। उन्होंने अपने शासन के दौरान अपनी शक्ति का भरपूर दुरुपयोग किया। हिंदुओं को जेल में डाला, उन पर हमला किया, उनके खिलाफ झूठे मामले दर्ज किए। कांग्रेस तो भगवा आतंकवाद कहने और हिंदू धर्म को आतंकवाद कहने तक चली गई।