Notice: Function _load_textdomain_just_in_time was called incorrectly. Translation loading for the newsmatic domain was triggered too early. This is usually an indicator for some code in the plugin or theme running too early. Translations should be loaded at the init action or later. Please see Debugging in WordPress for more information. (This message was added in version 6.7.0.) in /home/imagequo/domains/shrinaradmedia.com/public_html/wp-includes/functions.php on line 6121
बोध कथा : तीन खिलौने, एक बार जरूर पढ़े - श्रीनारद मीडिया

बोध कथा : तीन खिलौने, एक बार जरूर पढ़े

बोध कथा : तीन खिलौने, एक बार जरूर पढ़े

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow

श्रीनारद मीडिया, सेंट्र्रल डेस्‍क:

गुरुकुल में शिक्षा प्राप्त कर रहे शिष्यों में आज काफी उत्साह था , उनकी बारह वर्षों की शिक्षा आज पूर्ण हो रही थी और अब वो अपने घरों को लौट सकते थे .

गुरु जी भी अपने शिष्यों की शिक्षा-दीक्षा से प्रसन्न थे और गुरुकुल की परंपरा के अनुसार शिष्यों को आखिरी उपदेश देने की तैयारी कर रहे थे।

उन्होंने ऊँची आवाज़ में कहा , ” आप सभी एक जगह एकत्रित हो जाएं , मुझे आपको आखिरी उपदेश देना है .”

गुरु की आज्ञा का पालन करते हुए सभी शिष्य एक जगह एकत्रित हो गए .

गुरु जी ने अपने हाथ में कुछ लकड़ी के खिलौने पकडे हुए थे , उन्होंने शिष्यों को खिलौने दिखाते हुए कहा , ” आप को इन तीनो खिलौनों में अंतर ढूँढने हैं।”

सभी शिष्य ध्यानपूर्वक खिलौनों को देखने लगे , तीनो लकड़ी से बने बिलकुल एक समान दिखने वाले गुड्डे थे . सभी चकित थे की भला इनमे क्या अंतर हो सकता है ?

तभी किसी ने कहा , ” अरे , ये देखो इस गुड्डे के में एक छेद है .
यह संकेत काफी था ,जल्द ही शिष्यों ने पता लगा लिया और गुरु जी से बोले ,

गुरु जी इन गुड्डों में बस इतना ही अंतर है कि –
एक के दोनों कान में छेद है
दूसरे के एक कान और एक मुंह में छेद है ,
और तीसरे के सिर्फ एक कान में छेद है “

गुरु जी बोले , ” बिलकुल सही , और उन्होंने धातु का एक पतला तार देते हुए उसे कान के छेद में डालने के लिए कहा .”

शिष्यों ने वैसा ही किया . तार पहले गुड्डे के एक कान से होता हुआ दूसरे कान से निकल गया , दूसरे गुड्डे के कान से होते हुए मुंह से निकल गया और तीसरे के कान में घुसा पर कहीं से निकल नहीं पाया .
तब गुरु जी ने शिष्यों से गुड्डे अपने हाथ में लेते हुए कहा , ” प्रिय शिष्यों , इन तीन गुड्डों की तरह ही आपके जीवन में तीन तरह के व्यक्ति आयेंगे .
पहला गुड्डा ऐसे व्यक्तियों को दर्शाता है जो आपकी बात एक कान से सुनकर दूसरे से निकाल देंगे ,आप ऐसे लोगों से कभी अपनी समस्या साझा ना करें .
दूसरा गुड्डा ऐसे लोगों को दर्शाता है जो आपकी बात सुनते हैं और उसे दूसरों के सामने जा कर बोलते हैं , इनसे बचें , और कभी अपनी महत्त्वपूर्ण बातें इन्हें ना बताएँ।
और तीसरा गुड्डा ऐसे लोगों का प्रतीक है जिनपर आप भरोसा कर सकते हैं , और उनसे किसी भी तरह का विचार – विमर्श कर सकते हैं , सलाह ले सकते हैं , यही वो लोग हैं जो आपकी ताकत है और इन्हें आपको कभी नहीं खोना चाहिए .

यह भी पढ़े

24 घंटे में दें खराब मौसम से क्षतिग्रस्त फसलों का मुआवजा: सीएम योगी

उद्यमिता एवं कौशल विकास में उत्कृष्ट योगदान के लिए केयू चैम्पियन ऑफ एजुकेशन अवार्ड 2024 से सम्मानित 

सिसवन प्रखंड में आयुष्‍यमान कार्ड बनाने का दस दिन का चल रहा विशेष अभियान

आसनसोल से चुनाव नहीं लड़ेंगे भोजपुरी स्टार पवन सिंह

प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय छपरा शाखा की ओर से महाशिवरात्रि महापर्व के अवसर पर शहर में निकाली गई भव्य चैतन्य शोभायात्रा 

सब्जी लेकर घर जा रहे व्यक्ति की गोली मारकर हत्या, छानबीन में जुटी पुलिस

Leave a Reply

error: Content is protected !!