कोवैक्सिन को WHO की मंजूरी से क्या-क्या होंगे लाभ?

कोवैक्सिन को WHO की मंजूरी से क्या-क्या होंगे लाभ?

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
PETS Holi 2024
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
PETS Holi 2024
previous arrow
next arrow

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

दिवाली पर भारत को बड़ी खुशखबरी मिली है। लंबे इंतजार के बाद भारत बायोटेक की कोवैक्सिन को विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की मंजूरी मिल गई है। बुधवार को WHO के टेक्निकल एडवाइडरी ग्रुप ने कोवैक्सिन की मंजूरी पर मुहर लगा दी है।

कोवैक्सिन ऐसी दूसरी भारतीय वैक्सीन है, जिसे WHO का अप्रूवल मिला है। इससे पहले कोवीशील्ड को WHO का अप्रूवल मिल चुका है। अप्रैल में कोवैक्सिन को बनाने वाली कंपनी भारत बायोटेक ने WHO की एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (EOI) को स्वीकार किया था।

सबसे पहले समझिए कोवैक्सिन को अप्रूवल मिलने से आपको क्या फायदा होगा?

  • सबसे बड़ा फायदा विदेश यात्रा करने वालों को होगा। अभी WHO का अप्रूवल नहीं मिलने की वजह से कोवैक्सिन लिए गए लोगों को विदेश यात्रा करने में परेशानी का सामना करना पड़ता है। कई देशों ने कोवैक्सिन लगवाए लोगों को यात्रा करने की छूट नहीं दे रखी है। अप्रूवल मिलने के बाद कोवैक्सिन लिए लोगों को विदेश यात्रा करने में आसानी होगी।
  • दूसरा बड़ा फायदा वैक्सीन एक्सपोर्ट को लेकर होगा। अप्रूवल मिलने के बाद दूसरे देश भी अपने नागरिकों को कोवैक्सिन लगा सकेंगे। इससे वैक्सीन का एक्सपोर्ट बढ़ेगा।
  • दूसरे देशों में भी वैक्सीन के ट्रायल्स शुरू किए जा सकेंगे।
  • कोवैक्स के तहत कोवैक्सिन को दूसरे देशों में भी दिया जा सकेगा। कोवैक्स देशों का एक समूह है जो गरीब या कम आय वाले देशों को वैक्सीन देने के लिए बना है।

अभी तक क्यों नहीं मिला था कोवैक्सिन को अप्रूवल?

माना जा रहा था कि वैक्सीन के अप्रूवल में देरी की वजह मैन्युफैक्चरिंग और क्वालिटी से जुड़ी थी। वैक्सीन की सेफ्टी को लेकर कहीं कोई परेशानी नहीं है।

वैक्सीन के अप्रूवल में देरी को WHO की भेदभावभरी नीति के तौर पर भी देखा जा रहा था। कोवैक्सिन को अप्रूवल मिलने से इसका एक्सपोर्ट हो सकेगा और विदेशी वैक्सीन निर्माता कंपनियों के लिए मार्केट में एक और कॉम्पिटीटर आ जाएगा।

कुछ दिन पहले विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला ने कहा था कि वैक्सीन को अप्रूवल मिलना एक एडमिनिस्ट्रेटिव या पॉलिटिकल से ज्यादा एक टेक्निकल प्रॉसेस है। टेक्निकल कमेटी वैक्सीन भारत बायोटेक के सबमिट किए डेटा का वैल्यूएशन करेगी।

WHO अप्रूवल क्या होता है?

दरअसल किसी भी बीमारी से लड़ने के लिए वैक्सीन जितनी जरूरी है उतनी ही जरूरी वैक्सीन की सेफ्टी भी है। किसी भी वैक्सीन को आम लोगों में देने से पहले उसके ओवरऑल सेफ्टी चेक की जाती है। सेफ्टी स्टैंडर्ड पर खरा उतरने के बाद ही उसे लोगों को दिया जाता है। आसान भाषा में समझें तो ये वैक्सीन की गुणवत्ता, सुरक्षा और इफेक्टिवनेस को मापने की प्रोसेस है।

WHO की इमरजेंसी यूज लिस्टिंग में महामारी या किसी भी पब्लिक हेल्थ इमरजेंसी में हेल्थ प्रोडक्ट की सेफ्टी और इफेक्टिवनेस को जांचा जाता है। WHO ने फाइजर की वैक्सीन को 31 दिसंबर 2020 को, ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन को 15 फरवरी 2021 को और जॉनसन एंड जॉनसन की वैक्सीन को 12 मार्च को इमरजेंसी यूज अप्रूवल दिया था।

किसी वैक्सीन को कैसे मिलता है WHO का अप्रूवल?

WHO से अप्रूवल के लिए कई स्टेप्स की प्रोसेस होती है…

  • सबसे पहले वैक्सीन निर्माता कंपनी को WHO को एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (EOI) सबमिट करना होता है।
  • उसके बाद कंपनी और WHO के बीच प्री-सब्मिशन मीटिंग होती है।
  • वैक्सीन कंपनी फाइनल डोजियर को WHO को सबमिट करती है। WHO इसका मूल्यांकन करता है।
  • मूल्यांकन के नतीजों के आधार पर ही अप्रूवल को लेकर आखिरी निर्णय लिया जाता है।

कितनी इफेक्टिव है कोवैक्सिन?
कोवैक्सिन को भारत बायोटेक और इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने मिलकर बनाया है। फेज-3 क्लिनिकल ट्रायल्स के बाद कंपनी ने दावा किया था कि वैक्सीन की क्लिनिकल एफिकेसी 78% है। यानी यह कोरोना इन्फेक्शन को रोकने में 78% इफेक्टिव है। अच्छी बात यह है कि जिन्हें ट्रायल्स में यह वैक्सीन लगाई गई थी, उनमें से किसी में भी गंभीर लक्षण नहीं दिखे। यानी गंभीर लक्षणों को रोकने के मामले में इसकी इफेक्टिवनेस 100% है।

कोवैक्सिन को पारंपरिक इनएक्टिवेटेड प्लेटफॉर्म पर बनाया गया है। यानी इसमें डेड वायरस को शरीर में डाला जाता है, जिससे एंटीबॉडी रिस्पॉन्स होता है और शरीर वायरस को पहचानने और उससे लड़ने लायक एंटीबॉडी बनाता है।

WHO ने कौन-कौन सी वैक्सीन को अप्रूवल दिया है?

WHO ने फिलहाल 6 वैक्सीन को अप्रूवल दे रखा है। इसमें भारत की कोवीशील्ड भी शामिल है। हालांकि, ऑक्सफोर्ड एस्ट्राजेनेका की ही वैक्सीन को भारत बायोटेक कोवीशील्ड नाम से बना रहा है।

Leave a Reply

error: Content is protected !!