सड़कों पर दोपहिया वाहन ले रहे सबसे अधिक जान

सड़कों पर दोपहिया वाहन ले रहे सबसे अधिक जान

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
PETS Holi 2024
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
PETS Holi 2024
previous arrow
next arrow

समृद्धि की सड़क पर गति पकड़ रहे देश में वाहनों की संख्या भी बढ़ रही है और सड़कों की लंबाई भी, लेकिन दुखद यह है कि मार्ग दुर्घटनाएं और उनमें हो रही मौतों की संख्या भी बढ़ रही है। भारत में बीते वर्ष सड़क दुर्घटनाओं में मौतों की संख्या में वृद्धि एक चेतावनी है। इन सड़क दुर्घटनाओं में दोपहिया वाहन सबसे अधिक मौतों का कारण बन रहे हैं।

  • 44.5% मौतें दोपहिया वाहनों के कारण वर्ष 2021 में सड़क दुर्घटनाओं में हुईं। इन वाहनों से बीते वर्ष देश में 69,240 लोगों की जान गई
  • 16.8% वृद्धि वर्ष 2021 में इसके पिछले वर्ष की तुलना सड़क दुर्घटनाओं से मौतों में भारत में दर्ज की गई। एनसीआरबी के अनुसार इससे प्रति 1,000 वाहन सड़क दुर्घटनाओं कीदर भी बढ़ी है
  • 23,531 लोगों की मृत्यु वर्ष 2021 में भारत की सड़कों पर कारों के कारण हुईं। मार्ग दुर्घटनाओं में हुई कुल मौतों का यह 15.1 प्रतिशत रहा
  • 14,622 मौतें बीते वर्ष ट्रकों या लारी के कारण हुईं। यह कुल मौतों का 9.4 प्रतिशत है। मध्य प्रदेश में इस कारण सबसे अधिक (23.4 प्रतिशत) मौतें हुई
  • 57,090 सड़क दुर्घटनाएं तमिलनाडु में वर्ष 2021 में हुईं जो पूरे देश में सबसे अधिक रहीं। इसके पिछले वर्ष इस दक्षिण भारतीय राज्य में सड़क दुर्घटनाओं की संख्या 46,443 थी
  • 3.0% मौतें बीते वर्ष भारत की सड़कों पर बसों के कारण हुई दुर्घटनाओं में दर्ज की गई
  • 49,493 मौतें रोड एक्सीडेंट में वर्ष 2021 में मध्य प्रदेश में हुईं जो वर्ष 2020 की तुलना में 6,133 अधिक हैं
  • 5,916 मौतें उप्र में 2021 में उसके पिछले वर्ष की तुलना में रोड एक्सीडेंट में अधिक दर्ज की गई.
  • सड़क परिवहन व राजमार्ग मंत्रालय ने दो पहिया वाहनों के पीछे मां को नौ माह से लेकर चार साल तक के बच्चे को बैठकर चलने का कानूनी मान्यता दे दी है। बच्चों को सुरक्षा कवच के साथ हेलमेट पहनना अनिवार्य होगा। नियम का पालन न करने पर मां को एक हजार रुपये का जुर्माना देना पड़ेगा।

    केंद्रीय मोटर वाहन अधिनियम की धारा 129 में दो पहिया वाहन चलाने व पीछे बैठने वालों के लिए नियम दर्ज है। इसमें दो पहिया वाहन पर 10 साल से कम उम्र के बच्चों को पीछे नहीं बैठाया जा सकता है। पीछे बैठने वाले सभी व्यक्ति को हेलमेट पहनना अनिवार्य है। महिलाओं ने भी नौकरी करने के साथ दो पहिया वाहनों को चलाना शुरू कर दिया है। वर्तमान में महिलाएं इस नियम का उल्लंघन कर दो पहिया वाहन के आगे दो साल से अधिक उम्र के बच्चे को खड़ा कर या बैठकर चलती हैं। नियम के उल्लंघन करने से दुर्घटनाएं बढ़ती हैं।

  • सड़क परिवहन व राजमार्ग मंत्रालय ने महिलाओं की सुविधा के लिए दो पहिया वाहन के पीछे नौ से लेकर चार साल के बच्चे को बैठाकर चलने के नियम में संशोधन करने के लिए प्रस्ताव तैयार किया था। इस प्रस्ताव के आधार पर भारत का राजपत्र 26 अक्टूबर को जारी किया है, यह परिवहन अधिकारियों को 10 नवंबर को मिल चुका है। इसमें केंद्रीय मोटर वाहन अधिनियम की धारा 129 को संशोधित किया गया। इसमें नौ माह से चार साल तक के बच्चों को दो पहिया वाहन के पीछे बैठाकर वाहन चलाने का नियम बनाया गया है।
  • इसके लिए वाहन चालक को बच्चों के लिए सुरक्षा कवच बनाना होगा, जो वाहन चालक की पीठ में बेल्ट से बंधा होगा। इसमें आसानी से बच्चे बैठ सकेंगे। बच्चों को हेलमेट पहनना होगा, जो काफी हल्‍का होगा। हेलमेट बनाने वाली कंपनी इस तरह का हेलमेट तैयार करेगी। पीछे बच्चे के बैठे होने पर दो पहिया वाहन अधिकतम 40 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से चलाई जा सकती है। दो पहिया वाहन के आगे बच्चों को बैठाने और खड़े करने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।
  • इस नियम का उल्लंघन करने वाले वाहन चालक से एक हजार रुपये जुर्माना लिया जाएगा। बार-बार इस नियम का उल्लंघन करने वालों का ड्राइविंग लाइसेंस निरस्त करने का प्रावधान है। सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी (प्रशासन) ने बताया क‍ि इस संबंध में राजपत्र जारी हो चुका है, प्रदेश सरकार के स्वीकार करते ही प्रदेश में यह नियम लागू हो जाएगा।
  • सभी दस्तावेजों को मोबाइल पर रखाना होगा

    मोबाइल में होने चाहिए सभी दस्तावेज नए यातायात नियमों के मुताबिक वाहन चालक को ड्राइविंग से जुड़े सभी दस्तावेजों को मोबाइल पर रखाना होगा. डिजी लॉकर या फिर एम परिवहन के जरिए ड्राइविंग लाइसेंस और पंजीकरण प्रमाण पत्र जैसे अन्य दस्तावेजों को स्टोर किया जा सकता है. कोई भी दस्तावेज भौतिक तौर पर अपने साथ नहीं रखने होंगे. ट्रैफिक पुलिस ड्राइविंग लाइसेंस या फिर कोई भी अन्य दस्तावेज मांगती है तो वाहन चालक मोबाइल में स्टोर की हुई सॉफ्ट कॉपी दिखा सकते हैं.

  • यह भी पढ़े……
  • वाराणसी में वीरांगना महारानी लक्ष्मीबाई के जन्म स्थली पर जल रहा है अखंड दीप
  • काशी तमिल संगमम् में सूरज ढलते ही चमकें संस्कृति के सितारे , काशीवासियों ने विभिन्न कला प्रस्तुतियों का लिया आनंद
  • गोवा फिल्म समारोह सिनेमा प्रेमियों के लिए किसी तीर्थ स्थल जैसा है

Leave a Reply

error: Content is protected !!