विश्व हिंदी सम्मेलन 2023: इस बार फिजी देश के नगर नाडी में होगा आयोजित

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श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

इस बार ‘12वां विश्व हिंदी सम्मेलन’ का आयोजन फिजी में किया जा रहा है। यह पहला मौका है जब पैसिफिक क्षेत्र के किसी देश में यह सम्मेलन आयोजित किया जा रहा है। यह सम्मेलन  15 से 17 फरवरी तक भारतीय विदेश मंत्रालय और फिजी सरकार द्वारा संयुक्त रूप से किया जा रहा है। इस सम्मेलन में भारतीय विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर भारतीय प्रतिनिधि मंडल का नेतृत्व करेंगे। यह सम्मेलन फिजी के नाडी शहर में होगा।

विश्व हिंदी सम्मेलन के शुभंकर का चयन एक विश्वस्तरीय प्रतिस्पर्धा के माध्यम से किया गया है। इसके लिए 1436 प्रविष्टियां प्राप्त हुई थीं और इनमें से 78 प्रविष्टियों पर अंतिम रूप से विचार करने के बाद मुंबई के मुन्ना कुशवाहा द्वारा परिकल्पित शुभंकर का चयन किया गया। विजेता को 75 हजार रुपए का नकद पुरस्कार दिया जाएगा। विदेश राज्य मंत्री ने कहा कि फिजी में हिंदी की शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए भारत की ओर से एक भाषा प्रयोगशाला भेंट की जाएगी जिसके माध्यम से लोगों को सुगमता से हिंदी सीखने में मदद मिलेगी।

अब तक दुनिया के 11 अलग-अलग देशों में विश्व हिंदी सम्मेलन का आयोजन किया जा चुका है। फिजी के साथ ही न्यूजीलैंड, सिंगापुर, मॉरीशस समेत कई देशों में हिंदी भाषा का बहुत ज्यादा इस्तेमाल होता है।

यूएन में हिन्दी
संयुक्त राष्ट्र संघ में हिन्दी को आधिकारिक भाषा के तौर पर मान्यता दिलाने के लिए विदेश मंत्रायल लगातार प्रयासरत है। विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा कि यूनेस्को द्वारा अलग-अलग समाचार पत्रों, सोशल मीडिया और अन्य प्लेटफॉर्म पर हिन्दी का इस्तेमाल किया जाता है। उन्होंने कहा कि हिन्दी को आधिकारिक भाषा के रूप में मान्यता देने में अभी थोड़ा समय लग सकता है।

सम्मेलन के लोगो और वेबसाइट लॉन्च विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सम्मेलन के लोगो और वेबसाइट का शुभारंभ किया। इस दौरान विरासत और कला मंत्रालय की स्थायी सचिव अंजीला जोखान ने कहा कि पैसिफिक क्षेत्र में इस सम्मेलन का आयोजन करने वाला पहला देश बनना फिजी का सौभाग्य है।

हिंदी की फिजी तक यात्रा
फिजी में हिन्दी भाषा न सिर्फ प्राइमरी, सेकेंडरी स्कूलों, यूनिवर्सिटीज में पढ़ाई जाती है, बल्कि फिजी के संविधान में इसे आधिकारिक भाषा का दर्जा हासिल है। फिजी में हिन्दी की शुरूआत 1879 से 1916 के बीच मानी जाती है। उस समय फिजी और भारत पर अंग्रेजी शासन था। बताया जाता है कि उस समय गन्ना के खेतों में काम करने के लिए भारत से करीब 60,000 मजदूरों को फिजी लाया गया था। इनमें अधिकतर लोग उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और बिहार के थे। संयुक्त राष्ट्र (2020) के अनुसार, फिजी की जनसंख्या करीब 8,96,000 है और उनमें से 30 प्रतिशत से अधिक लोग भारतीय मूल के हैं।

केंद्र सरकार अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हिंदी के प्रचार-प्रसार के लिए उल्लेखनीय प्रयास कर रही है। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि आशा है कि भारत और विदेश में रहने वाले हिंदी प्रेमी, विद्वान तथा शिक्षण संस्थान इस सम्मेलन में उत्साहपूर्वक भाग लेंगे।

12वाँ विश्व हिंदी सम्मेलन विदेश मंत्रालय द्वारा फिजी सरकार के सहयोग से 15 से 17 फरवरी, 2023 तक फिजी में आयोजित किया जा रहा है। 12वें विश्व हिंदी सम्मेलन को फिजी में आयोजित करने का निर्णय मॉरीशस में आयोजित 11वें विश्व हिंदी सम्मेलन में लिया गया था।

पहला विश्व हिंदी सम्मेलन 1975 में नागपुर, भारत में आयोजित किया गया था। तब से, विश्व के अलग-अलग भागों में, ऐसे 11 सम्मेलनों का आयोजन किया जा चुका है। अभी तक पूर्व में आयोजित 11 सम्मेलनों के ब्यौरे इस प्रकार हैं:

क्र.सं. सम्मेलन स्थान वर्ष
1. प्रथम विश्व हिंदी सम्मेलन नागपुर, भारत 10-12 जनवरी, 1975
2. द्वितीय विश्व हिंदी सम्मेलन पोर्ट लुई, मॉरीशस 28-30 अगस्त, 1976
3. तृतीय विश्व हिंदी सम्मेलन नई दिल्ली, भारत 28-30 अक्तूबर, 1983
4. चतुर्थ विश्व हिंदी सम्मेलन पोर्ट लुई, मॉरीशस 02-04 दिसंबर, 1993
5. पाँचवाँ विश्व हिंदी सम्मेलन पोर्ट ऑफ स्पेन, ट्रिनिडाड एंड टोबैगो 04-08 अप्रैल, 1996
6. छठा विश्व हिंदी सम्मेलन लंदन, यू.के. 14-18 सितंबर, 1999
7. सातवाँ विश्व हिंदी सम्मेलन पारामारिबो, सूरीनाम 06-09 जून, 2003
8. आठवाँ विश्व हिंदी सम्मेलन न्यूयार्क, अमरीका 13-15 जुलाई, 2007
9. नौवाँ विश्व हिंदी सम्मेलन जोहांसबर्ग, दक्षिण अफ्रीका 22-24 सितंबर, 2012
10. दसवाँ विश्व हिंदी सम्मेलन भोपाल, भारत 10-12 सितंबर, 2015
11. ग्यारहवाँ विश्व हिंदी सम्मेलन पोर्ट लुई, मॉरीशस 18-20 अगस्त, 2018
12वें विश्व हिंदी सम्मेलन के लिए विदेश मंत्रालय नोडल मंत्रालय है। व्यवस्थित एवं निर्बाध रूप से सम्मेलन के आयोजन के लिए विभिन्न समितियाँ गठित की गई हैं।

सम्मेलन का मुख्य विषय “हिन्‍दी – पारंपरिक ज्ञान से कृत्रिम मेधा तक ” है।

सम्मेलन का आयोजन स्थल देनाराऊ आइलैंड कन्वेंशन सेंटर, नांदी, फिजी है।

सम्मेलन स्थल पर हिंदी भाषा के विकास से संबंधित कई प्रदर्शनियाँ लगाई जाएंगी। सम्मेलन के दौरान शाम को भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद, नई दिल्ली द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम और कवि सम्मेलन का आयोजन किया जाएगा।

दैनिक सम्मेलन-समाचार पत्र (सम्मेलन-समाचार), सम्मेलन-स्मारिका और शैक्षिक सत्रों में हुई चर्चाओं और सुझावों के आधार पर एक सम्मेलन रिपोर्ट भी प्रकाशित की जाएगी। भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद द्वारा “गगनांचल” का विशेष अंक निकाला जाएगा जो सम्मेलन को समर्पित होगा।

परंपरा के अनुरूप सम्मेलन के दौरान भारत एवं अन्य देशों के हिंदी विद्वानों को हिंदी के क्षेत्र में उनके विशेष योगदान के लिए “विश्व हिंदी सम्मान” से सम्मानित किया जाएगा।

12वें विश्व हिंदी सम्मेलन के लिए उपयुक्त “लोगो” के चयन हेतु 75 हजार रुपए की राशि के पुरस्कार के साथ मंत्रालय द्वारा एक “लोगो” डिजाइन प्रतियोगिता आयोजित की गई थी। “लोगो” चयन समिति के सहयोग से, सम्मेलन के लिए एक उपयुक्त “लोगो” का चयन किया गया है।

सम्मेलन के लिए एक वेबसाइट vishwahindisammelan तैयार की गई है और सम्मेलन से संबंधित सभी सूचनाओं के लिए इसे देखा जा सकता है।

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